यूपी की इस अधिकारी ने केरल में फंसे 3200 मजदूरों तक पहुंचाई राहत सामग्री

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लखनऊ। कोरोना वायरस के कारण पूरे देश में लागू किये गये 21 दिनों के लॉक डाउन में मजदूर वर्ग के सामने भूखे मरने की नौबत आ गई है। रोजी-रोटी की तलाश में एक राज्य से दूसरे राज्यों में गये लोग आजिविका छिन जाने से गंभीर संकट के दौर से गुजर रहे है। लेकिन कई अधिकारी ऐसे है, जो कि इन मजदूरों के लिए संकट मोचक की भूमिका निभा रहे है। वें लॉक डाउन के कारण फंसे मजदूरों को ना सिर्फ सहायता पहुंचा रहे है, बल्कि उनके लिए राहत सामग्री की व्यवस्था भी सुनिश्चित करने का कार्य कर रहे है। 
ऐसे ही अधिकारी है उत्तर प्रदेश, महानिरीक्षक निबंधन/आयुक्त स्टाम्प मिनिस्ता एस। राज्य सरकार द्वारा इन्हें केरल का प्रभारी बनाया गया है। अपनी जिम्मेदारी के प्रति मिसाल पेश करते हुए मिनिस्ता ने मात्र 2 दिनों के भीतर ही केरल में फंसे 3200 मजदूरों तक राहत सामग्री पहुंचाने का कार्य किया। संकट के इस दौर में जब गरीबों के सामने भूखे मरने की नौबत आन पड़ी है तो इस अधिकारी ने मानवीय संवेदानाओं की मिसाल पेश की है। इन्होंने व्यक्तिगत तौर पर कई मजदूरों से बात किया और उनकी समस्याओं को दूर करने का प्रयास किया। 


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अपनी जिम्मेदारी को पूरी कर्तव्यनिष्ठा और ईमानदारी से निभाते हुए मिनिस्ता ने गरीब व असहाय मजदूरों की समस्याओं को अपना समझा और हर वह मुमकिन कोशिश की, जिससे मजदूरों को इन 21 दिनों के राष्ट्रव्यापी लॉक डाउन में किसी तरह की परेशानी का सामना ना करना पड़े। 
अपनी टीम के साथ सुबह 7 बजे से रात 12 बजे तक हर क्षण अपने कार्य में जुटी मिनिस्ता मजदूरों के लिए किसी संकटमोचक से कम नहीं है। जिसमें वहां के पुलिस महानिदेशक बलराम उपाध्याय व डी0 आई0जी0 पुलिस संजय कुमार का महत्वपूर्ण सहयोग मिल रहा है। प्रभारी केरला मिनिस्ता एस ने बताया कि उक्त दोनों अधिकारी उत्तर प्रदेश के मूल निवासी हैं। जिससे केरल में फंसे यूपी वासियों तक राहत सामग्री पहुंचाने में विशेष मदद मिल रही है साथ ही मजदूरों को हर संभव मदद का भरोसा दिलाया जा रहा है।